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नर्मदा में पानी पर चलते दिखी महिला लगा रही दरबार

  • 15 Apr 2023

मां का स्वरूप मानकर आशीर्वाद लेने पहुंच रहे लोग; महिला की जुबानी पूरी कहानी
नर्मदापुरम/पिपरिया। 8 अप्रैल 2023... सोशल मीडिया पर एक वीडियो सामने आया। जिसमें नर्मदा नदी में पानी पर एक महिला चलते नजर आई। लोगों ने इसे चमत्कार मान लिया। महिला को मां नर्मदा का अवतार बताने लगे। फिर क्या था, दर्शनों के लिए भीड़ लग गई। पुलिसकर्मियों ने भी आशीर्वाद लिया। पता चला कि महिला का नाम ज्योति रघुवंशी है। उम्र 60 साल। वह नर्मदापुरम की रहने वाली है। एक साल पहले बिना बताए घर से नर्मदा परिक्रमा करने निकली थी। पुलिस ने उसे वापस उसके घर नर्मदापुरम के कल्लूखापा गांव भेज दिया।
यहां ज्योति ने दरबार लगाना शुरू कर दिया है। ये बात अलग है कि वह अब पहले की तरह गुमनाम नहीं है। कई गांवों के लोग उससे मिलने पहुंच रहे हैं। कोई आशीर्वाद लेने पहुंच रहा है, तो कोई संकट का निवारण पूछ रहा है। ये भी पता चला कि 18 मार्च को पहला वीडियो सामने आया था। इसके बाद लगातार 8 अप्रैल तक कई वीडियो अपलोड किए गए। हालांकि, पहले भी ज्योति ने किसी दैवीय शक्ति होने की बात से इनकार किया था। आज भी वही बात दोहराई है।
ज्योति रघुवंशी की जुबानी पूरी कहानी-
मैं ज्योति रघुवंशी। तीन से चार महीने में एक बार नर्मदा स्नान करने जाती थी। यही कामना करती थी कि कब नर्मदा मां की पैदल परिक्रमा का अवसर मिले। बच्चों को इस बारे में नहीं बताती थी, क्योंकि अगर मैं कहती, तो बेटे परिक्रमा के लिए गाड़ी बुलवा देते, जबकि मैं पैदल ही जाना चाहती थी। बात 9 मई 2022 की है। पास के गांव सेमरी हरचंद में सीहोर वाले पंडित प्रदीप मिश्रा की शिवपुराण कथा थी। मैं भी चली गई। उस दिन शिव पुराण का अंतिम दिन था। मैंने कथा सुनी। भंडारे में भी शामिल हुई।
इसके बाद मन में आया कि क्यों न आज ही नर्मदा परिक्रमा के लिए निकल जाऊं। बिना किसी को बताए परिक्रमा पर जाने का तय कर लिया। सोचा- नर्मदा मइया के किनारे-किनारे चलकर परिक्रमा पूरी कर लूंगी। यही सोचकर नर्मदापुरम में नर्मदा पुल से यात्रा शुरू कर दी। सोच लिया था- मैं डरूंगी नहीं। रोजाना करीब 30 से 35 किमी की दूरी तय करती। रास्ते में जो भी आश्रम या मंदिर मिलता, वहीं ठहर जाती थी। यात्रा के बीच में आने वाले आश्रमों में खाना खाने के दौरान लोग मिलते थे।
10 से 15 मार्च के बीच की बात होगी। मैं नरसिंहपुर जिले के बरमान घाट के पास से गुजर रही थी, तभी कुछ लोग अपनी समस्या लेकर मेरे पास आए। थोड़ा- बहुत जो कुछ भी मैं जानती थी, उन्हें बता दिया। किसी को नर्मदा जल लगाने के लिए कहती। किसी को पूजा-पाठ करने की सलाह देती। मैंने किसी को दवा नहीं दी। कुछ देसी नुस्खे बता देती। कह देती कि आप कहीं से मंगा लीजिए। अब वही दवा खाकर लोग ठीक हो जाते हैं। मैं अपने हाथ से किसी को कुछ नहीं देती। केवल बताती हूं कि यह मिले तो खा लो, ठीक हो जाओगे। लोगों से यही कहना चाहती हूं कि मैं कोई देवी या अवतार नहीं हूं। मैं खुद मां नर्मदा की पूजा-पाठ करने वाली हूं। किसी को कोई समस्या होती है, तो अपने अनुभव से निवारण बता देती हूं। इसके पीछे दैवीय शक्ति नहीं है।