सिंतबर माह पूरा होने पर पांच लाख कागज की बचत होगी
इंदौर। बिजली के बिल पेपरलेस करने से न केवल कागज की बचत हो रही है, इसके अलावा भुगतान के लिए मिलने वाला समय पहले की तुलना में ज्यादा मिलना, केशलेस भुगतान के प्रति आसानी होना, उसी दिन की रीडिंग के हिसाब से तुरंत बिल मिलना, हरियाली संरक्षण को बढ़ावा देने का कार्य भी हो रहा है। सितंबर माह के बिलों की साइकिल पूरी होने पर ही पांच लाख पेपर बचेंगे, अब तक अस्सी फीसदी बचत हो चुकी है। शेष बिलों का कार्य 30 तारीख तक पूर्ण हो जाएगा।
मध्यप्रदेश पश्चिम क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी के प्रबंध निदेशक श्री अमित तोमर ने बताया कि इंदौर सहित अन्य नगरों के 44 जोन क्षेत्रों में पेपरलेस बिल प्रक्रिया सितंबर से प्रारंभ की गई है। इन क्षेत्रों में निम्नदाब उपभोक्ताओं की संख्या करीब पांच लाख है। इस तरह सितंबर बिल साइकिल पूरा होने पर पांच लाख पेपर की बचत होगी। इतने कागज तैयार करने के लिए दर्जनभर पेड़ लगते है, इसी से अंदाजा लगाया जा सकता है कि पेपरलेस बिल प्रक्रिया हरियाली संरक्षण एवं पर्यावरण हित के लिए किस तरह उपयोगी है। श्री तोमर ने बताया कि इंदौर शहर के अलावा उज्जैन, देवास, शाजापुर, रतलाम, मंदसौर, नीमच, खंडवा, पीथमपुर, बदनावर आदि में पेपरलेस बिल दिए जा रहे हैं। पहले माह ही पेपरलेस बिल के प्रति उपभोक्ताओं में सकारात्मकता देखी गई है। श्री तोमर ने बताया कि आगे जाकर सभी जिला मुख्यालयों, कस्बों में पेपरपेस बिल व्यवस्था लागू करने की तैयारी है। कंपनी क्षेत्र में सभी नगरीय इलाकों में इस व्यवस्था को पूरी तरह लागू करने के बाद प्रतिमाह करीब सत्रह लाख और वर्ष दो करोड़ कागज बचेंगे।
इंदौर
तुरंत मिल रहा पेपरलैस बिल, भुगतान भी आसान
- 26 Sep 2022