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इंदौर

साल के अंत तक तैयार हो जाएंगा ग्राम कुमेड़ी का आईएसबीटी

  • 23 Sep 2022

बस टर्मिनल का कार्य 55 प्रतिशत से ज्यादा हुआ
इंदौर। आईडीए अपनी महत्वपूर्ण योजनाओं को जल्द से जल्द पूरा करने के लिए एक नया प्लान तैयार कर रहा है। वर्तमान में आईडीए के जितने भी प्रोजेक्टों पर काम चल रहा है उसकी वस्तु स्थिति का पता लगाने के लिए सीईओ और चेअरमेन ने सभी प्रोजेक्टों की रिपोर्ट आईडीए के इंजीनियरों से मांगी गई है। इसी के चलते आईडीए ग्राम कुमेड़ी एम. आर. - 10 पर 5.60 हेक्टेयर क्षेत्रफल में लगभग 63 करोड़ की लागत से इंटरस्टेट बस टर्मिनल (आईएसबीटी) विकसित कर रहा है। बताया गया है बस टर्मिनल का काम लगभग 55 प्रतिशत हो चुका है। साल के अंत तक प्रोजेक्ट पूरा कर दिया जाएंगा।
शहर को उच्च स्तरीय बस टर्मिनल की सुविधा देने के लिए आईडीए एमआर-10 पर लगभग 63 करोड़ रुपए की लागत से बस स्टैंड का निर्माण कर रहा है। हालांकि कोरोना और अन्य कारणों से 6 माह से अधिक समय का विलंब भी हो गया। अब 55 फीसदी काम पूरा होने की जानकारी आईडीए ने दी है और साथ ही यह भी दावा किया कि साल के अंत तक यह बस टर्मिनल पूरा कर लिया जाएगा।
 इस टर्मिनल के पास से ही गुजरने वाली मेट्रो लाइन से भी इसकी सीधी कनेक्टीविटी रहेगी। फुट ओवरब्रिज बनाकर इस आईएसबीटी से पास में ही बन रहे मेट्रो स्टेशन को जोड़ दिया जाएगा। 63 करोड़ रुपए की राशि इस अत्याधुनिक टर्मिनल के निर्माण पर खर्च होगी।  एक अन्य टर्मिनल नायता मूंडला में आरटीओ भवन के पास बनाया जा रहा है, जहां पर टर्मिनल का काम तो तेज गति से चल रहा है, मगर पहुंच मार्ग पर झुग्गी झोपडियों का अतिक्रमण अभी भी कायम है।
एमआर-10 पर जो बस टर्मिनल निमार्णाधीन है, उसका 55 फीसदी काम पूरा हो चुका है। टर्मिनल की बिल्डिंग का सिविल वर्क लगभग पूरा हो गया और अब फिनिशिंग का काम पूरा होगा, उसके बाद फर्नीचर सहित अन्य सुविधाएं जुटाई जाएगी। बस यात्रियों को एयरपोर्ट की तरह सुविधाएं इस टर्मिनल पर मिलेगी। प्राधिकरण के सहायक इंजीनियर राजेश महाजन के मुताबिक 1440 बसों की आवाजाही इस टर्मिनल से अनुमानित की गई है और सितम्बर 2019 से इस टर्मिनल का निर्माण शुरू हुआ था। कोविड और अन्य कारणों से विलंब हुआ और अब इस साल के अंत तक इस टर्मिनल का निर्माण पूरा कर लिया जाएगा।
3 एकड़ जमीन का भू-उपयोग व्यवसायिक किया
आईडीए  के पास विजय नगर डिपो की भी बेशकीमती जमीन है, जहां पर साढ़े 6 एकड़ में बस स्टैंड प्रस्तावित किया गया और शेष साढ़े 3 एकड़ जमीन का भू-उपयोग व्यवसायिक कर दिया है। मगर अब इस पूरी बेशकीमती जमीन को आईडीए व्यवसायिक करवाकर बेचना चाहता है, ताकि हजार करोड़ रुपए तक की आमदनी की जा सके और वैसे भी अब विजय नगर डिपो की जमीन बस स्टैंड के लायक नहीं रही, क्योंकि पूरा क्षेत्र व्यवसायिक हो चुका है। इसकी बजाय प्राधिकरण ने दो बस टर्मिनल नायता मूंडला और कुमेर्डी में बनाना शुरू किए।